हमारे प्रेरणा स्त्रोत
हमारे प्रेरणा स्त्रोत ठा. विरेन्द्रसिंह बुरहानपुर जिले में शिक्षा के क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव लाने वाले पुरोधा थे | अगस्त 2018 में कर्मठ योद्धा का अचानक चले जाना शिक्षा जगत के लिए, क्षेत्र के किसानों के लिए, गरीब असहाय लोगों के लिए, जिनकी सेवा करना श्री सिंह का प्रथम लक्ष्य था, एक अपूर्णनीय क्षति है |
आज सेवासदन परिवार अपने इस ऊर्जावान कर्तव्यनिष्ठ ओर असीमित प्रेरणा के अनन्त स्त्रोत को श्रद्धापूर्वक स्मरण करता है |
सेवासदन महाविद्यालय ने विगत दस वर्षो के आपके अध्यक्षीय कार्यकाल में अविस्मरणीय उपलब्धिया अर्जित की है |
वर्ष 2008 में सेवासदन शिक्षा समिति के अध्यक्ष का चुनौतीपूर्ण दायित्व स्वीकार कर उन्होंने ठाकुर परिवार द्वारा समाज हित के लिए किये जाते रहें
समर्पित उत्तरदायित्व का निर्वहन किया | अपने बड़े भ्राता ठा.शिवकुमारसिंह एवं ठा.महेंद्रसिंह को आदर्श मानकर उनके सपनो को पूर्ण करने में
उन्होंने अपना पूर्ण जीवन समर्पित कर दिया | महाविद्यालय में नए रोजगारोन्मुखी पाठ्यक्रमों को शुरू करना,
जिले की प्रथम वातानुकूलित ई- लायब्रेरी का निर्माण, विभिन्न शैक्षणिक एवं सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए सभागार का निर्माण ये उनकी दूर - दृष्टि
और सृजनशीलता का परिचायक है | विद्यार्थियों को नियमित पढ़ाई के साथ-साथ रोजगार के अवसर उपलब्ध करवाने के लिए उन्होंने महाविद्यालय में
प्लेसमेंट सेल का गठन करवाया और अब तक अनेक विद्यार्थी इससे लाभान्वित हो चुके है |
सेवासदन महाविद्यालय को जिले का प्रथम नैक प्रत्यायित महाविद्यालय करवाने का श्रेय उन्ही को जाता है |
जिले के निर्धन विद्यार्थियों को अध्ययन हेतु शिक्षण शूल्क में सहूलियत एवं शोध क्षेत्र में रूचि रखने वाले विद्यार्थियों में उत्साहवर्धन के लिए (Thakur Virendra Singh Knowledge Resource Center cum e-Library) की स्थापना | विद्यार्थी यहाँ ई- पुस्तकालय एवं वाचनालय की सहायता से विश्वस्तरीय अध्ययन सामग्री का उपयोग करते है | पूरे बुरहानपुर जिले के सभी विद्यार्थियों के लिए यह उत्कृष्ट सुविधा बिल्कुल निःशुल्क है |
श्री सिंह ने तकनिकी क्षेत्र के विद्यर्थियो के लिए अल्पसमय में ठा. शिवकुमारसिंह ग्रुप ऑफ इंस्टिटूशन्स का निर्माण किया जिसके अन्तर्गत आज इंजीनियरिंग,पॉलिटेक्निक, प्रबंधन एवं फार्मेसी महाविद्यालय संचालित हो रहे है जो इस क्षेत्र के लिए एक अभूतपूर्व एवं अविस्मरणीय देन है |
बुरहानपुर जिले के लिए ठा. विरेन्द्रसिंहजी द्वारा दिए गए दस वर्ष जिलेवासियों के लिए स्वर्णिँम वर्ष रहे है | उनके द्वारा शिक्षा में अथक प्रयासों, उनकी निरंतर गतिशिलता ने सेवासदन महाविद्यालय को देवी अहिल्या विश्वविद्यालय इन्दौर का एक विशिष्ट महाविद्यालय स्थापित किया है | साथ ही बुरहानपुर जिले में शिक्षा के साथ साथ क्षेत्र के सामाजिक,आर्थिक, सहकारी, साहित्यिक, सांस्कृतिक क्षेत्र के उत्थान हेतु की गई निस्वार्थ सेवा चिरस्मरणीय रहेगी |
श्री सिंह की कार्य करने की पद्धति सर्वश्रेठ थी | वे हमेशा "टीम स्पिरीट " और " पॉजिटिव थिंकिग" को प्रेरित करते रहे और सर्वश्रेष्ठ को प्राप्त करने यही उनका मंत्र वाक्य था | यद्यपि शारीरिक रूप से वे आज हमारे बीच नहीं है किन्तु हमारे मन मस्तिष्क में हमारी आत्मा में हमारे अवचेतन में वे सदैव रहेंगे और सर्वश्रेष्ठ के लिए प्रेरित करेंगे |